P2P क्या है?
अगर आपको थोड़ा भी क्रिप्टो के बारे में जानकारी है, जैसे कि आपका बैलेंस, आपके एक्सचेंज के बारे में सुना होगा, जहाँ पर आप ट्रेडिंग कर सकते हैं, तो आप जानते होंगे कि यहाँ पर क्रिप्टो ट्रेडिंग के लिए पैसे डिपॉजिट किए जाते हैं। P2P का मतलब पर्सन-टू-पर्सन होता है।
P2P ट्रेडिंग कैसे होती है?
सपोज़ मान लो मेरे पास कुछ क्रिप्टोकरेंसी हैं, जैसे कि Tether (USDT) जो मेरे वॉलेट में है, तो मैं क्या करूँगा? इस ऐप में इसे सेल करूँगा और बदले में मुझे डॉलर मिलेंगे। ये डॉलर मुझे बेचने पर मिलते हैं। इस ट्रेडिंग में, आप और खरीदने वाला दोनों प्राइस का डिफरेंस देखते हैं और वहीँ से प्रॉफिट कमाते हैं।
कैसे कमा सकते हैं लाखों रुपये?
यहाँ पर जो प्राइस का डिफरेंस है, चाहे वो 10 पैसे का हो, 20 पैसे का, या एक रुपये का हो, इस डिफरेंस को इस्तेमाल करके लोग यहाँ से हजारों, इवन लाखों रुपये कमा रहे हैं। आप भी यह करके कमा सकते हैं, लेकिन इसके लिए कुछ बातें ध्यान में रखनी होंगी, नहीं तो एक गलती से आपका अकाउंट फ्रीज हो सकता है। कुछ केसेस में स्कैम भी हो सकता है, फ्रॉड भी हो सकता है।
P2P ट्रेडिंग के लिए अकाउंट कैसे बनाएं?
सबसे पहले आपको अपना अकाउंट क्रिएट करके वेरिफाई करना होगा। अकाउंट क्रिएट करने के बाद जब आप वॉलेट में आएंगे, तो आपके सामने कई वॉलेट्स आएंगे, जैसे कि स्पॉट, फंडिंग आदि। फंडिंग में क्लिक करने पर आपके सामने P2P ट्रेडिंग का ऑप्शन आएगा।
P2P ट्रेडिंग से पैसे कैसे कमाएं?
मान लो मैंने $200, ₹80,80 के रेट पर खरीदे। अब यहाँ पर जो रेट होता है, वो फ्लक्चुएट करता रहता है। मैं चाहता हूँ कि इन $200 को बार-बार यूज़ करके पैसे कमाऊँ। तो मैं क्या करूँगा? यहाँ पर एड शो हो रहा है, लोग बेच रहे हैं, खरीद रहे हैं। मैं भी अपने $200 को ₹81,00 के रेट पर बेच दूँगा। इस तरह से $1 में ₹2 का फायदा हो सकता है।
कम लिमिट में ज्यादा कमाई
यहाँ पर कम लिमिट में ज्यादा पैसे कमाना बेहतर होता है। कम लिमिट में बेचने से बड़े खरीदार आपके पास नहीं आएँगे, जिससे आपको छोटे-छोटे मार्जिन पर प्रॉफिट होगा।
P2P ट्रेडिंग में सावधानी कैसे बरतें?
- कंप्लीशन रेट चेक करें: जब भी किसी से खरीदो या बेचो, उसका कंप्लीशन रेट चेक कर लें। अगर कंप्लीशन रेट 90% से कम है, तो उस व्यक्ति से डील ना करें।
- नेम और बैंकिंग नेम का मिलान करें: जब भी ट्रांजेक्शन करें, इस बात का ध्यान रखें कि जो व्यक्ति पैसा भेज रहा है, उसका नेम और बैंकिंग नेम मैच होना चाहिए। अगर ये मैच नहीं होता, तो उससे डील ना करें, वरना आपका अकाउंट फ्रीज हो सकता है।
P2P ट्रेडिंग के रिस्क
कुछ समय पहले P2P ट्रेडिंग से काफी बैंक अकाउंट्स फ्रीज हो रहे थे। अकाउंट फ्रीज होने की स्थिति में आपको बैंक नहीं, बल्कि पुलिस स्टेशन जाना पड़ सकता है। ऐसे मामलों में, आपकी ट्रांजेक्शन भी होल्ड हो सकती है और आपके खिलाफ केस भी हो सकता है।
P2P ट्रेडिंग क्या है?
P2P ट्रेडिंग में व्यक्ति-से-व्यक्ति (Person-to-Person) क्रिप्टोकरेंसी की खरीद-बिक्री होती है। यह सीधे तौर पर दोनों पक्षों के बीच होती है, बिना किसी मध्यस्थ के।
P2P ट्रेडिंग के लिए क्या आवश्यकताएं हैं?
आपको एक क्रिप्टो एक्सचेंज पर अकाउंट क्रिएट करना होगा और उसे वेरिफाई करना होगा। इसके बाद आप P2P ट्रेडिंग शुरू कर सकते हैं।
P2P ट्रेडिंग में कैसे पैसे कमाए जा सकते हैं?
P2P ट्रेडिंग में आप क्रिप्टोकरेंसी को एक प्राइस पर खरीदते हैं और जब उसका रेट बढ़ता है, तो उसे बेचकर आप प्रॉफिट कमा सकते हैं।
P2P ट्रेडिंग में क्या रिस्क होते हैं?
P2P ट्रेडिंग में स्कैम, फ्रॉड, और बैंक अकाउंट फ्रीज होने के जोखिम होते हैं। इसलिए सावधानी से ट्रेडिंग करनी चाहिए।
P2P ट्रेडिंग में अकाउंट फ्रीज कैसे हो सकता है?
अगर आपने किसी अनवेरिफाइड यूज़र के साथ ट्रेडिंग की, या उनका नाम बैंकिंग नेम से मैच नहीं करता, तो आपका अकाउंट फ्रीज हो सकता है।
P2P ट्रेडिंग में कौन से यूज़र्स से बचना चाहिए?
जिनका कंप्लीशन रेट 90% से कम है और जिनके पास कम वॉटर्स हैं, उनसे ट्रेडिंग करने से बचना चाहिए।
P2P ट्रेडिंग में क्या वॉलेट्स का उपयोग होता है?
P2P ट्रेडिंग के लिए स्पॉट, फंडिंग, और स्पोर्ट वॉलेट्स का उपयोग किया जाता है।
P2P ट्रेडिंग में कम लिमिट क्यों रखनी चाहिए?
कम लिमिट में ट्रेडिंग करने से आपको छोटे ट्रांजेक्शन्स पर ज्यादा प्रॉफिट का मौका मिलता है और बड़े स्कैम्स से बचा जा सकता है।
P2P ट्रेडिंग में मार्जिन का महत्व क्या है?
ट्रेडिंग में मार्जिन का मतलब है कि आप किस प्राइस डिफरेंस पर प्रॉफिट कमा सकते हैं। कम लिमिट में ज्यादा मार्जिन रखना फायदेमंद हो सकता है।
P2P ट्रेडिंग में क्या स्कैम से बचने के तरीके हैं?
कंप्लीशन रेट चेक करें, यूज़र का बैंकिंग नेम मैच करें, और अनजान यूज़र्स से ट्रेडिंग से बचें।
निष्कर्ष
इस तरह से P2P ट्रेडिंग में पैसे कमाना मुमकिन है, लेकिन इसके साथ जुड़े रिस्क को ध्यान में रखना बेहद जरूरी है। उम्मीद करते हैं कि आपको ये जानकारी उपयोगी लगी होगी।